Vishnu Gayatri is in Sanskrit.
अथ विष्णुगायत्री
ॐ विष्णुदेवाय विद्महे । वासुदेवाय धीमहि ।
तन्नो विष्णुः प्रचोदयात् ।
ॐ विष्णुदेवाय अंगुष्ठाभ्यां नमः ।
विद्महे तर्जनीभ्यां नमः । वासुदेवाय मध्यमाभ्यां नमः ।
धीमहि अनामिकाभ्यां नमः । तन्नो विष्णुः कनिष्ठिकाभ्यां नमः ।
ॐ विष्णुदेवायहृदयाय नमः । विद्महे शिरसे स्वाहा ।
वासुदेवाय शिखायै वषट् । धीमहि कवचाय हुम् ।
तन्नो विष्णु नेत्रत्रयाय वौषट् । प्रचोदयात् अस्त्राय फट् ।
अथ विष्णुमंत्रः ॐ उपेन्द्राय अचिंत्याय नमः ।
इति विष्णुगायत्री ॥
हिंदी अनुवाद
ॐ विष्णु देवताको जानते हैं, वासुदेवका ध्यान करते हैं, वह विष्णु हमारी बुद्धियोंको श्रेष्ठकार्यसे प्रेरणा करे ।
ॐ विष्णुदेवाय से अंगुष्ठ, विद्महे से तर्जनी, वासुदेवाय से मध्यमा, धीमहि से अनामिका, तन्नो विष्णुः से कनिष्ठिका, प्रचोदयात् से करतल, करपृष्ठ ।
ॐ विष्णु देवाय से हृदय, विद्महे से शिर, वासुदेवाय से शिखा, धीमहिसे कवच, तन्नो विष्णु से नेत्रत्रय, प्रचोदयात् से अस्त्र हथेलीपर दो अंगुली ताडन करे ।
अब विष्णु मंत्र कहते हैं-- ॐ उपेन्द्र अचिन्त्यदेके निमित्त प्रणाम हैं ।
इति विष्णु गायत्री ॥
Vishnu Gayatri
अथ विष्णुगायत्री
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